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राष्ट्रीय टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के प्रति लोगों के बीच जनजागरूकता के लिए कार्य करेंगे निक्षय मित्र
- निक्षय मित्र के सहयोग से अब टीबी के मरीजों को मिलेगी डोर स्टेप सहायता
- राष्ट्रीय टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत वर्ष 2025 तक देश को टीबी मुक्त बनाने का है लक्ष्य
मुंगेर, 27 दिसंबर। जिला भर में अब निक्षय मित्र के सहयोग से टीबी के मरीजों को डोर स्टेप की सहायता मिल सकेगी। इसकी तैयारी की जा रही है। मालूम हो कि राष्ट्रीय टीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत जिला भर में टीबी रोग के प्रति लोगों के बीच जन जागरूकता लाकर वर्ष 2025 तक टीबी को खत्म करने का लक्ष्य पहले से ही निर्धारित है। इसके लिए इच्छुक व्यक्ति निक्षय मित्र के तौर पर जुड़कर टीबी के मरीजों को सहायता पहुंचाएंगे ।
जिला यक्ष्मा केंद्र मुंगेर के जिला संक्रामक रोग पदाधिकारी ( सीडीओ) डॉ ध्रुव कुमार शाह ने बताया कि जिलास्तर पर सभी संबंधित विभागों एवम गैर सरकारी संगठनों के साथ बैठक आयोजित कर सामुदायिक सहभागिता के तौर पर निक्षय मित्र बनाने का प्रयास किया जाएगा। निक्षय मित्र योजना की पूरी प्रक्रिया मरीजों की स्वेच्छा और उसकी सहमति पर होगी। इसके लिए जिला के टीबी मरीजों से लिखित सहमति होगी । इसके लिए जिला के मरीजों से लिखित सहमति प्राप्त करने पर विचार- विमर्श होगा।
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री टीबी मुक्त भारत अभियान के अंतर्गत क्रियाकलापों पर निरंतर समीक्षा से सामुदायिक सहभागिता को बल मिलेगा। सामूहिक सहभागिता से टीबी उन्मूलन के सपने को साकार करने का प्रयास किया जाएगा।
समुदाय से क्षय रोग को मिटाने के लिए समाज के लोग आएं आगे :
समाज के लोगों से अपील करते हुए उन्होंने कहा कि सामाजिक संगठन, सामाजिक कार्यकर्ता और राजनीतिक दलों से जुड़े लोग आगे आएं और सामाजिक दायित्वों का निर्वहन करें ताकि निर्धारित समय सीमा के अंदर क्षय रोग का जिला सहित पूरे देश से उन्मूलन हो सके । इसके लिए लोगों को प्रोत्साहित और प्रेरित करने के लिए विभागीय स्तर पर भी प्रयत्न किया जा रहा है। ताकि वो आगे आएं और अपने गांव, टोला टोला - मुहल्ला या टीबी के मरीजों को गोद लेकर अपने सामाजिक दायित्वों का निर्वहन करें । इस कार्य में जिला यक्ष्मा केंद्र सहित पूरा स्वास्थ्य विभाग हर संभव सहायता के लिए सदैव तैयार है।
क्या है निक्षय मित्र योजना ?
जिला टीबी और एचआईवी समन्वयक शैलेन्दु कुमार ने बताया कि निक्षय मित्र योजना एक तरह से टीबी रोग से पीड़ित लोगों को गोद लेने कि योजना है। इस योजना के तहत कोई भी सामान्य नागरिक, जनप्रतिनिधि, राजनीतिक दल, गैर सरकारी संस्थान, कॉरपोरेट संस्थान टीबी के मरीजों को गोद ले सकते हैं। इस अभियान के तहत यह व्यवस्था की गई है कि निक्षय मित्र बनने वाला व्यक्ति या संस्था कम से कम एक और अधिक से अधिक तीन वर्ष के लिए किसी गांव, वार्ड, पंचायत, ब्लॉक या जिला के किसी रोगी/रोगियों को गोद लेकर उन्हें भोजन, पोषण, आजीविका के स्तर पर जरूरी मदद पहुंचा सकते हैं। लोग सामाजिक दायित्व के तहत निक्षय मित्र योजना से जुड़कर भारत को टीबी मुक्त बनाने में बड़ा योगदान दे सकते हैं ।
रिपोर्टर
The Reporter specializes in covering a news beat, produces daily news for Aaple Rajya News
Dr. Rajesh Kumar